ब्रिटेन | साल 2001 में भारत और पाकिस्तान के बीच परमाणु युद्ध छिड़ सकता था। इस बात की जानकारी यूके की तरफ से दी गई है। यह जानकारी उन दस्तावेजों से मिली है जो हाल में यूके की तरफ से रिलीज किए गए हैं। ये सारे दस्तावेज 2003 में हुए ईराक युद्ध के हैं। दस्तावेजों के मुताबिक, भारत पाकिस्तान के बीच पर परमाणु युद्ध 2001 में संसद पर हुए हमले के बाद होने वाला था। यह हमला लश्कर ए तैयबा और जैश ए मौहम्मद ने करवाया था। इसमें 9 लोगों की मौत हो गई थी।
इन दस्तावेजों में बताया गया है कि 9/11 (2001 में अमेरिका पर हमला) के बाद ब्रिटेन के लिए विदेश नीति की प्राथमिकता अफगानिस्तान था। साल के समाप्त होते होते 13 दिसंबर, 2001 को भारतीय संसद पर आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच सैन्य टकराव की आशंका ने ब्रिटेन सरकार और अमेरिका के लिए चिंता पैदा कर दी। इससे दोनों देशों को समझ नहीं आया कि अपना ध्यान किस तरफ केंद्रित करें। तत्कालीन ब्रिटिश विदेश मंत्री जैक स्ट्रॉ ने शिलकॉट जांच आयोग के समक्ष गवाही के दौरान ये खुलासे किये हैं।
स्ट्रा ने बताया, ’13 दिसंबर 2001 में इस्लामिक आतंकियों ने दिल्ली में लोक सभा पर हमला कर दिया था। इसके बाद दोनों देशों के बीच परमाणु युद्ध जैसे हालात बन गए थे। क्योंकि हमारा सारा ध्यान अफगानिस्तान की तरफ था इस वजह से हमने भारत पाकिस्तान को बहला-फुसलाकर युद्ध ना करने के लिए मना लिया।’ इराक हमले के बारे में कहा जा रहा है कि यह हमला जल्दबाजी में किया गया था। इसकी वजह से जांच चल रही है। 2009 से इसके लिए सबूत एकत्रित किए जा रहे थे, गवाही ली जा रही थी। वे सब अब सामने आ रही हैं।