लखनऊ। सूबे में आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर प्रमुख राजनीतिक दलों के बीच दलितों एवं पिछडे वोट बैंक को लेकर रस्सा कसी तेज हो गयी है। हर कोई इस वर्ग को अपनी ओर आकर्षिक करने के फिराक में है। लेकिन कांग्रेस की निगाहें इससे इतर सर्वणों पर टिकी हुई है। कांग्रेस ब्राम्हणों एवं ठाकुरों के सहारे मुस्लिमों को पार्टी से जोडना चाहती है।
इसके पीछे तर्क यह है कि यह वोट बैंक बीते दो दशक से हर चुनाव में दल बदल कर देता है। सूबे में करीब 12 प्रतिशत ब्राम्हण है। जो कभी कांग्रेस का एक मुफीद वोट बैंक माना जाता था। लेकिन 90 के दशक में राम मंदिर आंदोलन के दौरान यह वोट बैंक भाजपा के खेमे में आ गया है। लेकिन राम मंदिर आंदोलन ठंडा होने के बाद यह वर्ग प्राय: हर चुनाव में दल बदल कर देता है।
इसी लिए कांग्रेस चाहती है यह वोट बैंक पार्टी से जुडे। इसके लिए दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित को आगे करने की तैयारी चल रही है। पार्टी सूत्रों के अनुसार शीला दीक्षित के जरिये ब्राम्हणों को पार्टी से जोडने की
सुझाव कांग्रेस का चुनावी प्रबंधन देख रहे प्रशांत किशोर का है। लेकिन उनका यह सुझाव पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के गले नहीं उतर रहा है। इसी तरह प्रदेश में करीब आठ प्रतिशत ठाकुर मतदाता है।
यह वोट बैंक भी बीते ढाई दशक से किसी दल का मुरीद नहीं रहा बल्कि हर चुनाव में दल बदल कर देता है। राम मंदिर आंदोलन के बाद से यह वोट बैंक कभी सपा तो कभी बसपा के पाले खडा दिखयी देता रहा है। ऐसे में कांग्रेस चाहती है कि ठाकुर मतदाता भी पार्टी के साथ जुडे। इसके लिए पूर्व सांसद संजय सिंह को दांव लगाने की तैयारी है। संजय सिंह को गांधी परिवार का करीबी माना जाता है।
इस तरह ठाकुर ब्राम्हणों को जोडने के बाद कांग्रेस मुस्लिमों को जोड सकेगी। क्योंकि मुस्लिम वोट बिना मजबूत जनाधार के किसी दल के साथ नहीं जुडता। इसलिए ठाकुर ब्राम्हणों को जोडने के बाद मुस्लिमों को रिझाने की कवायद चल रही है। ऐसें में कांग्रेस का यह सपना साकार हुआ तों वाकई पार्टी की स्थित 2017 में कहीं बेहतर होगी।
पार्टी सूत्रों का मानना है कि कांग्रेस के पास खोने को कुछ भी नहीं है। इसलिए इस नये प्रयोग को करने में कोई हर्ज नहीं है। क्योंकि कांग्रेस का पूर्व में फोकस दलितों एवं मुस्लिमों पर रहता था। लेकिन दलितों के न आने मुस्लिम भी नहीं जुडता था। बहरहाल कांग्रेस की यह नयी रणनीति कितना कामयाब होगी यह तो आगामी विधानसभा के चुनाव परिणाम ही बतायेंगे।